शुक्रवार 5 जुलाई को केंद्र सरकार की ओर से पहला बजट पेश कर दिया गया है| इस पेश किये गए बजट में इस बार वार्षिक बही-खाता 2019-20 में आयकर की दरों में किसी प्रकार का परिवर्तन नहीं किया गया है। वहीं सरकार ने अमीर लोगो को सही रास्ता दिखाते हुए तीन से सात फीसदी का सेस लगाने का प्रस्ताव पेश कर दिया है।
इसे भी पढ़े: बजट 2019 : इस बार के बजट में आपके जानने योग्य काम की ये है 10 सबसे बड़ी बातें
पांच लाख तक नहीं देना है कर
वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट पेश करते हुए कहा कि, सालाना पांच लाख रुपये तक कर योग्य आय होने पर कोई कर नहीं देना होगा। वित्तमंत्री ने अंतरिम बजट में आयकर में दी गई छूट को बरकरार रखा है।’
पांच करोड़ से अधिक की कमाई पर 37 फीसदी अधिभार
केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने पेश किये गए बजट में दो करोड़ रुपये से लेकर पांच करोड़ रुपये तक कम की सालाना व्यक्तिगत आय पर 25 प्रतिशत अधिभार लगाने का प्रस्ताव पेश किया है। वहीं पांच करोड़ रुपये से अधिक की आय पर 37 प्रतिशत का अधिभार देना लागू कर दिया है |
अमीरों के लिए कर में वृद्धि
सीतारमण ने अमीरों पर अधिक कर लगाने की घोषणा अपने बजट में की है। 5 जुलाई को पेश हुए बजट में उन्होंने दो से पांच करोड़ सालाना कमाने वालों पर तीन फीसदी और सात करोड़ रुपये से अधिक आमदनी वालों पर सात फीसदी का सेस लगाने का प्रस्ताव पेश कर दिया है।
मध्यम वर्ग को घर-कार का सपना सस्ता
वित्तमंत्री ने 45 लाख रुपये तक घर खरीदने के लिए कर्ज लेने वाले मध्यम वर्ग के लोगों को बड़ी राहत दी है। उन्होंने कर्ज के ब्याज पर मिलने वाली छूट को 1.5 लाख रुपये करत हुए दो के बजाय साढ़े तीन लाख रुपये सालाना ब्याज राशि पर कर छूट दे दी है | लेकिन यह लाभ उसी को मिलेगा जिसका कर्ज 20 मार्च 2020 से पहले लिया गया हो। इससे 15 साल में सात लाख रुपये का लाभ प्राप्त होगा | इसके अलावा वित्तमंत्री ने इलेक्ट्रिक वाहन खरीदने के लिए कर्ज लेने पर 1.5 लाख रुपये सालाना ब्याज को भी खत्म कर दिया है |
कॉरपोरेट-स्टार्टअप को राहत
सीतारमण ने कहा कि, अब 400 करोड़ रुपये सालाना कारोबार करने वाली कंपनियों को 25% न्यूनतम निगम कर का लाभ मिलेगा। इससे पहले यह लाभ 250 करोड़ रुपये सालाना कारोबार करने वाली कंपनियों को मिलती थी। स्टार्टअप कंपनियों की ओर से जमा कोष को भी आयकर विभाग की निगरानी से बाहर कर दिया गया है।’
सही प्रबंधन किया तो 12 लाख तक आय पर कर नहीं
ऐसे समझे गणित
5,00,000 | कर योग्य आय |
1,50,000 | 80सी |
50,000 | नेशनल पेंशन स्कीम |
50,000 | मानक कटौती |
10,000 | जमा पर ब्याज में छूट |
25,000 | मेडिक्लेम |
3,50,000 | आवास पर ऋण छूट |
1,50,000 | इलेक्ट्रिक वाहन ऋण छूट |
12,35,000 रुपये | कुल |
आयकर स्लैब
आय | आयकर |
250000 रुपये तक | शून्य |
250000 से 500000 रु | 5% |
500001 से 1000000 रु | 20% |
1000000 रु. से अधिक | 30 % |
80 साल से अधिक उम्र के लिए स्लैब
आय | आयकर |
5,00,000 रुपये तक | शून्य |
5,00,001 से 10,00,000 रुपये | 20 प्रतिशत |
10,00,000 रुपये से अधिक | 30 प्रतिशत |
इसे भी पढ़े: Budget 2019 :जानिए बजट में कौन-कौन सी चीजें हुई सस्ती और क्या हुआ महंगा