सुप्रीम कोर्ट नें अयोध्या भूमि विवाद में मध्यस्थता को लेकर आज एक अहम निर्णय सुनाया। प्रधान न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने अपने आदेश में स्पष्ट कर दिया है, कि अयोध्या विवाद में मध्यस्थता होगी। सुप्रीम कोर्ट नें इस सम्बन्ध में 3 सदस्यीय पैनल भी गठित कर दिया है। मध्यस्थता प्रक्रिया फैजाबाद में आयोजित की जाएगी। इसकी अध्यक्षता जस्टिस एफएम कलीफुल्लाह करेंगे और इसमें श्री श्री रविशंकर और वरिष्ठ अधिवक्ता श्रीराम पंचू शामिल होंगे ।
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सबसे अहम् बात यह है, कि गठित पैनल को चार सप्ताह के अन्दर कार्यवाही आरंभ करनी होगी और 8 सप्ताह के अंदर अपनी फाइनल रिपोर्ट सबमिट करना होगा । इसके अतिरिक्त सुप्रीम कोर्ट ने इस केस की गंभीरता को देखते हुए इसकी मीडिया रिपोर्टिंग पर प्रतिबन्ध लगा दिया है । चीफ जस्टिस रंजन गोगोई ने कहा, कि कोर्ट की निगरानी में होने वाली मध्यस्थता की प्रक्रिया पूर्ण रूप से गोपनीय रखा जायेगा, तथा मध्यस्थता की कार्यवाही कैमरे के सामने होनी चाहिए।
सुप्रीम कोर्ट ने यह भी कहा, कि अगर मध्यस्थों को लगता है, कि इस पैनल में कुछ और लोगों को और शामिल किया जाना चाहिए , तो वह शामिल कर सकते हैं| उत्तर प्रदेश सरकार, फ़ैज़ाबाद में मध्यस्थों को सभी सुविधाएं प्रदान करेगी| मध्यस्थ आवश्यकता के अनुसार और अधिक कानूनी सहायता ले सकते हैं |
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