पाकिस्तान के हवाई क्षेत्र में प्रतिबन्ध से भारत के साथ-साथ पाकिस्तान को भी नुक्सान का सामना करना पड़ रहा है| एयरस्पेस बंद होने से भारत को लगभग 548 करो़ड़ रुपये का हानि का सामना करना पड़ रहा है, तो वहीं पाकिस्तान को 100 मिलियन डॉलर (लगभग 688 करोड़ रुपये) का नुकसान हो रहा है। पाकिस्तान का एयरस्पेस फरवरी में पुलवामा आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान के बालाकोट में आतंकी ठिकानों पर हुए एयरस्ट्राइक के बाद से बंद है। अब-तक प्रतिदिन लगभग 400 विमान पाकिस्तान के एयर स्पेस का इस्तेमाल नहीं कर पा रहे हैं।
पाकिस्तान के 11 एयरस्पेस में से 9 बंद
31 मई को भारतीय वायु सेना ने ऐलान किया था कि, बालाकोट स्ट्राइक (BalaKot AirStrike) के बाद भारतीय एयरस्पेस पर लगाए गए सभी अस्थाई प्रतिबंध हटा दिए गए हैं। इसके बाद पाकिस्तान के 11 एयरस्पेस में से 9 बंद हैं। फिलहाल जो दो हवाई रास्ते चालू हैं, वे दक्षिण पाकिस्तान से होकर गुजरते हैं।
इन भारतीय विमानों को हुआ नुकसान
एयर इंडिया को 2 जुलाई तक लगभग 491 करोड़ रुपये का नुकसान का सामना करना पड़ा है। इसके साथ ही इंडिगो को 31 मई तक 25.1 करोड़ का तो स्पाइसजेट एवं गोएयर को 20 जून तक क्रमश: 30.73 एवं 2.1 करोड़ रुपये का नुकसान झेलना पड़ गया है|
एयरस्पेस से बचना काफी कठिन
एयरलाइंस को अब अन्य देशों से उड़न भरने के लिए पैसा चुकाना पड़ता हैं| इसके लिए कोई मानक शुल्क नहीं है। कभी-कभी इस किराए से बचने के लिए ही वह अपने विमान का रास्ता बदल लेती हैं। इसके बावजूद भी एयरस्पेस से बचना काफी कठिन रहता है, क्योंकि हवाई क्षेत्र देश से बड़ा हो सकता है। जैसे अमेरिकी हवाई क्षेत्र फिलीपिंस तक फैला हुआ है। समुद्र के ऊपर से उड़ान भरने में जमीन के ऊपर उड़ने से कम खर्च होता है।
भारत में ओवरफ्लाइट और लैंडिंग चार्ज डीजीसीए तय करता है। इसके लिए तय किए गए रास्ते की नॉटिकल माइल्स के हिसाब से गणना होती है, साथ ही फ्लाइट का वजन भी देखा जाता है। फ्लाइट भारत की जमीन पर लैंड करती है तो उसके लिए 5,330 रुपये अतिरिक्त देने होते हैं। यदि कोई विमान जमीन का इस्तेमाल किए बिना यहां के एयरस्पेस से गुजरता है, तो एयरस्पेस फीस, तय की गई दूरी और वजन के चार्ज के साथ 5,080 रुपये अतिरिक्त देने होते हैं।
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