Chhatrapati Shivaji Maharaj Jayanti 2020: छत्रपती शिवाजी महाराज जयंती पर, जानिए उनसे जुड़ें कुछ अहम तथ्य

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Chhatrapati Shivaji Maharaj Jayanti 2020: आज 19 फरवरी को छत्रपति शिवाजी का जन्म हुआ था | यह भारत के बहादुर शासकों में से एक माने जाते थे। ये वो एक बहादुर शासक हैं, जिन्होंने  मराठा साम्राज्य की नींव मजबूत करने का काम कर दिखाया था| इसलिए मराठा साम्राज्य की नींव रखने का पूरा श्रेय छत्रपति शिवाजी को ही दिया जाता है | छत्रपति शिवाजी 19 फरवरी 1630 को  शिवनेरी दुर्ग में जन्मे थे | इसके बाद से ही इनके जन्मदिन  के रूप में प्रत्येक वर्ष इनके नाम की जयंती मनाई जाने लगी और अभी यह जयन्ती प्रत्येक वर्ष मनाई जाती है | छत्रपति शिवाजी की मनाई जाने वाली जयंती को शिव जयंती और शिवाजी जयंती भी कहा जाता हैं। इसलिए इनकी जयंती को अलग-अलग नामो से मनाई जाती है | 

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जानकारी देते हुए बता दें कि, इस जयंती का सबसे अधिक महत्व महाराष्ट्र में माना जाता है, क्योंकि यहाँ पर शिवाजी जयंती को बहुत ही पारंपरिक तरीके से मनाई जाती है | इस दिन महाराष्ट्र में  सभी कायकर्ताओं को अवकाश  प्रदान  किया जाता  है। इस दिन महाराष्ट्र के सभी निवासी शिवाजी को बहुत ही सुन्दर तरीके से मनाते है, शिवाजी को हर कोई उनकी बहादुरी और रणनीतियों के लिए याद करता है, क्योंकि वो ही ऐसे व्यक्ति थे, जिन्होंने मुगलों के खिलाफ कई युद्धों में जीत प्राप्त की थी | छत्रपति शिवाजी की पहचान स्वराज और मराठा विरासत के लिए  होती है |

छत्रपती शिवाजी महाराज से जुड़ें कुछ अहम तथ्य

शिवाजी महाराज का विवाह 14 मई, 1640 को हुआ था | उनकी पत्नी का नाम सइबाई निम्बालकर था। शिवाजी ने अपने जीवन काल में कई ऐसे बड़े कारनामे कर दिखाएं थे, जिन्हे आज भी दुनिया याद करती है | जैसे- मराठाओं की युद्द कौशल के लिए योद्धाओं को गुरिल्ला युद्ध सिखाए और मराठाओं की एक बहुत बड़ी सेना भी बनाई थी | 

शिवाजी एक ऐसे महान व्यक्ति थे, जो किसी भी धर्म को लेकर किसी भी प्रकार का कोई भी भेदभाव नहीं करते थे | वो हर धर्म के लोगों को मानते थे क्योंकि, उन्होंने युध्द के लिए जो सेना तैयार की थी, उसमें  कई मुस्लिम सिपाही भी शामिल थे। उनका मुख्य लक्ष्य धर्म को लेकर भेदभाव करना न था बल्कि वो मुग़ल सेना को हराकर मराठा साम्राज्य स्थापित करना  चाहते थे| 

इसके अलावा शिवाजी महिलाओं को भी पूर्ण रूप से सम्मान देते थे, क्योंकि उन्होंने महिलाओं के खिलाफ होने वाली कई हिंसाओ, शोषण और अपमान का जमकर विरोध किया और इसके साथ उन्होंने  महिलाओं के अधिकारों का उल्लंघन करने  वालों को सजा देने का आदेश अपने देश दे रखा था |

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