लोकसभा चुनाव के लिए अभी कुछ समय पहले ही गठबंधन में शामिल तेज बहादुर को वाराणसी से चुनावी मैदान में उतारा गया था | जहाँ उनका मुकाबला देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ है | पीएम मोदी के खिलाफ ताल ठोंकने वाले बीएसएफ के बर्खास्त जवान तेज बहादुर इस समय लगातार चर्चा में चल रहें हैं|
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जानकारी देते हुए बता दें की तेज बहादुर यादव ने 24 अप्रैल को निर्दलीय और 29 अप्रैल को समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी के तौर पर नामांकन भरा था लेकिन मंगलवार 30 अप्रैल को वाराणसी के जिला निर्वाचन अधिकारी सुरेन्द्र सिंह ने तेज बहादुर यादव के नामांकन पत्र के दो सेटों में कमियां ढूढ़ निकाली, जिसके बाद उन्होंने बुधवार 1 मई को 11 बजे तक बहादुर से अनापत्ति प्रमाण पत्र प्रस्तुत करने के लिए कहा लेकिन समय पर उनके दस्तावेज पेश न करने की वजह से उनका नामांकन पत्र खारिज कर दिया गया था |
वहीं अब तेज बहादुर पर वाराणसी के कैंट थाने में आचार संहिता के उल्लंघन का मामला भी दर्ज कर दिया गया है | नामांकन पत्र खारिज होने वाले दिन ही बहादुर के साथियों ने कचहरी परिसर में डीएम पोर्टिको के नीचे धरना प्रदर्शन और नारेबाजी करनी शुरू कर दी थी | जिसको देखते हुए स्थानीय वकील ने लिखित में शिकायत दर्ज करते हुए कहा था कि धारा 144 लागू है और यह काम आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन है | जिसपर उनके नाम पर FIR दर्ज की गई |
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